बलौदा बाजार

बलौदाबाजार भाटापारा में बदमाशों के निकले पंख



लाइव भारत 36 न्यूज़ से बलौदाबाजार से धीरेन्द्र साहू


बलौदाबाजार///हिंसा के बाद से ही जिले की कानून व्यवस्था को लेकर बड़ा सवाल उठ खड़ा हुआ है. पुलिस अब भी कलेक्टोरेट एसपी दफ्तर आगजनी मामले के आरोपियों की धरपकड़ में जुटी है.वहीं दूसरी तरफ टुटपुंजिए बदमाश और चोरों ने पुलिस के नाक में दम कर रखा है.बदमाशों के हौंसले इतने बुलंद है कि ना तो उन्हें कानून का खौफ है और ना ही सजा का डर.हालिया घटना में बदमाशों ने तो हद ही पार की है.इस बार बदमाशों के निशाने पर निपनिया थाना प्रभारी की गाड़ी आई.जिसे बीती रात किसी ने फूंक दिया।
ग्रामीण थाना क्षेत्र के निपनिया चौकी में प्रभारी किशुन कुम्भकार के घर के सामने खड़ी कार में किसी अज्ञात आरोपी ने आग लगा दी.जब तक आग पर काबू पाया जाता तब तक आग राख के ढेर में बदल चुकी थी.इस मामले में जहां एक तरफ पुलिस की पेट्रोलिंग पार्टी पर सवाल खड़े हो रहे हैं.वहीं दूसरी तरफ आगजनी के बाद फायर ब्रिगेड टीम की लापरवाही भी देखने को मिली.थाना प्रभारी ने जब आग लगने की सूचना देने के लिए भाटापारा नगरपालिका के फायर ब्रिगेड कर्मचारियों और मुख्य नगरपालिका अधिकारी को कॉल किया तो किसी ने फोन नहीं उठाया. तब बलौदाबाजार की अमेरा स्थित फायर स्टेशन की टीम की मदद से आग बुझाई गई।

SI की कार को फूंका
चौकी प्रभारी ने नहीं किया फोन रिसीव : कार में आग लगने की घटना के बाद चौकी प्रभारी किशुन कुम्भकार से लगातार उनके मोबाइल फोन पर संपर्क किया गया लेकिन उन्होंने फोन रिसीव नहीं किया. घटना की भाटापारा ग्रामीण थाना प्रभारी अमित पाटले ने पुष्टि की.

”रात लगभग एक बजे की घटना है. पुलिस अज्ञात आरोपी की तलाश कर रही है. घटना क्यों और कैसे हुई अभी पता नहीं चला है.”- अमित पाटले, थाना प्रभारी भाटापारा ग्रामीण

पुलिस से भी नहीं डर रहे बदमाश : आपको बता दें कि बलौदाबाजार में बदमाशों के पंख निकल आए हैं.यहां कुछ ही दिन पहले आबकारी उपनिरीक्षक जलेश सिंह को उन्हीं के ऑफिस में घुसकर बदमाश ने पीटा था.इस केस में पुलिस ने बदमाश को हिरासत में लेकर जुलूस निकाला.लेकिन वो जुलूस में अपनी बत्तीसी दिखाता नजर आ रहा था.शायद उसे पता था कि पुलिस किस तरह से खातिरदारी करेगी.इससे पहले एक महिला आरक्षक की स्कूटी उसी के घर के सामने से पार कर दी गई.जो अब तक लापता है.वहीं गार्डन के पास से बाइक को चोरों ने उड़ा लिया.अब सवाल ये उठने लगे हैं कि जिले में जब पुलिस ही सुरक्षित नहीं है तो जनता कहां से होगी. वहीं इस मामले में नागरिकों का कहना है कि इसका मुख्य कारण नशे का अवैध कारोबार है. जिसकी युवा पीढ़ी आदि हो चुकी है और इस तरह की घटनाओं को अंजाम दे रही है।

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